हेमंत कुमार का जन्म 16 जून, 1920 को वाराणसी, भारत में हुआ था। वह एक प्रसिद्ध संगीत निर्देशक और पार्श्व गायक थे, जिन्होंने मुख्य रूप से बंगाली और हिंदी के साथ-साथ मराठी, गुजराती, उड़िया, असमिया, तमिल, पंजाबी, भोजपुरी, कोंकणी, संस्कृत और उर्दू जैसी अन्य भारतीय भाषाओं में गाया था।
वह बंगाली और हिंदी फिल्म संगीत, रवींद्र संगीत और कई अन्य विधाओं के कलाकार थे। वह सर्वश्रेष्ठ पुरुष पार्श्वगायक के लिए दो राष्ट्रीय पुरस्कारों के प्राप्तकर्ता थे और लोकप्रिय रूप से “भगवान की आवाज” के रूप में जाने जाते थे।
हेमंत कुमार ने 1940 के दशक की शुरुआत में एक पार्श्व गायक के रूप में अपना करियर शुरू किया। वह जल्द ही उद्योग में सबसे अधिक मांग वाले गायकों में से एक बन गए, और उनके गीतों को कई लोकप्रिय फिल्मों में दिखाया गया।
उन्होंने 1940 के दशक के अंत में फिल्मों के लिए संगीत रचना भी शुरू की, और उनका संगीत अपने माधुर्य, भाव और परिष्कार के लिए जाना जाता था। हेमंत कुमार ने 200 से अधिक फिल्मों के लिए संगीत तैयार किया और उनके गीत आज भी लोकप्रिय हैं।
हेमंत कुमार के कुछ सबसे लोकप्रिय गीतों में शामिल हैं:
फिल्म “प्यासा” (1966) से “जाने वो कैसे लोग थे”
फिल्म “सोलवा साल” (1958) से “है अपना दिल तो आवारा”
फिल्म “खामोशी” (1969) से “तुम पुकार लो तुम्हारा इंतजार है”
फिल्म “पतिता” (1953) से “याद किया दिल ने”
फिल्म “मोन निये” (1955) से “ओगो काजल नयना हरिणी”
हेमंत कुमार बॉलीवुड संगीत के सच्चे दिग्गज थे। उनके गीतों का अभी भी दुनिया भर के लोग आनंद लेते हैं, और उनकी विरासत आने वाली पीढ़ियों के लिए संगीतकारों को प्रेरित करती रहेगी।
हेमंत कुमार का 26 सितंबर, 1989 को 69 वर्ष की आयु में निधन हो गया। वह भारतीय संगीत के एक सच्चे प्रतीक थे, और उद्योग में उनके योगदान को कभी नहीं भुलाया जा सकेगा।